Wing Commander Vyomika Singh :- जानिए ऑपरेशन सिंदूर में अहम भूमिका निभाने वाली विंग कमांडर व्योमिका सिंह के बारे में ।

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Wing Commander Vyomika Singh :- भारत की सैन्य शक्ति और रणनीतिक दक्षता का नया प्रतीक बनकर उभरी हैं भारतीय वायुसेना की हेलिकॉप्टर पायलट Wing Commander Vyomika Singh जिन्होंने हाल ही में Operation Sindoor पर आयोजित एक संयुक्त मीडिया प्रेस कॉन्फ्रेंस में हिस्सा लिया। यह प्रेस कॉन्फ्रेंस भारत सरकार के रक्षा और विदेश मंत्रालय द्वारा आयोजित की गई थी, जिसमें भारत द्वारा पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में आतंकी ठिकानों पर की गई सटीक और साहसी कार्रवाई की जानकारी दी गई। इस जवाबी कार्रवाई का कारण पहलगाम में हुए आतंकी हमले में मारे गए 26 निर्दोष भारतीय पर्यटकों की दुखद हत्या थी।

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इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में विंग कमांडर सिंह के साथ कर्नल सोफिया कुरैशी भी मौजूद थीं। दोनों ने मिलकर ऑपरेशन की रणनीतियों, उद्देश्यों और इसके निष्पादन से जुड़े तथ्यों को देश के सामने रखा। यह पहली बार था जब इतनी उच्चस्तरीय संयुक्त मीडिया ब्रीफिंग में महिला अधिकारी इस तरह के नेतृत्व में सामने आईं, जो भारतीय सशस्त्र बलों में महिलाओं की बढ़ती भागीदारी और नेतृत्व क्षमता का प्रमाण है।

बचपन का सपना, उड़ान की शुरुआत

Wing Commander Vyomika Singh की कहानी प्रेरणा से भरी है। उनका नाम ही जैसे उनकी नियति तय कर चुका था—“व्योमिका” यानी “आकाश की बेटी”। बचपन से ही उन्हें उड़ान भरने का सपना था, और इस सपने को साकार करने की दिशा में उन्होंने ठोस कदम उठाए। उन्होंने नेशनल कैडेट कोर (NCC) में प्रशिक्षण लिया और फिर इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी की। वह अपने परिवार की पहली सदस्य हैं जिन्होंने सशस्त्र बलों में सेवा करने का साहसिक निर्णय लिया।

18 दिसंबर 2019 को उन्हें भारतीय वायुसेना में हेलिकॉप्टर पायलट के रूप में स्थायी कमीशन मिला। यह न केवल उनके लिए, बल्कि देश की उन सभी युवतियों के लिए प्रेरणास्पद था जो भारतीय रक्षा सेवाओं में करियर बनाना चाहती हैं।

Wing Commander Vyomika Singh :- जानिए ऑपरेशन सिंदूर में अहम भूमिका निभाने वाली विंग कमांडर व्योमिका सिंह के बारे में ।

जोखिम भरे अभियानों में निपुणता

Wing Commander Vyomika Singh को 2,500 से अधिक घंटे की उड़ान का अनुभव है। उन्होंने चेतक और चीता जैसे हेलिकॉप्टरों को जम्मू-कश्मीर और पूर्वोत्तर भारत जैसे कठिन और संवेदनशील क्षेत्रों में उड़ाया है। उन्होंने कई बचाव मिशनों में हिस्सा लिया, जिनमें से एक उल्लेखनीय मिशन नवंबर 2020 में अरुणाचल प्रदेश में हुआ। यह मिशन कठिन भूगोल, खराब मौसम और ऊंचाई जैसे चुनौतीपूर्ण कारकों के बीच संचालित किया गया, जहां उनकी कमान में एयरलिफ्ट के जरिए कई लोगों की जान बचाई गई।

Operation Sindoor : नेतृत्व का प्रतीक

Operation Sindoor एक सुनियोजित और त्वरित प्रतिक्रिया थी, जिसे भारतीय सेना, नौसेना और वायुसेना ने संयुक्त रूप से अंजाम दिया। इस मिशन में आतंकवादियों के ठिकानों को नेस्तनाबूद करने के लिए सटीक और सामरिक रणनीतियों का उपयोग किया गया। विंग कमांडर सिंह ने इस मिशन की रणनीतिक जानकारी प्रेस के सामने साझा की, जिससे उनके नेतृत्व और पेशेवर जिम्मेदारियों की गहराई उजागर होती है।

महिला नेतृत्व की नई ऊंचाई

2021 में, विंग कमांडर सिंह ने 21,650 फीट ऊंचे माउंट मणिरंग पर आयोजित त्रि-सेवा महिला पर्वतारोहण अभियान में भी भाग लिया। यह अभियान भारतीय सशस्त्र बलों में महिलाओं की सक्रिय और मैदानी भागीदारी को दर्शाता है। वायुसेना प्रमुख और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने इस अभियान की सराहना की, जिससे यह स्पष्ट हुआ कि महिलाएं अब केवल सहयोगी भूमिका तक सीमित नहीं हैं, बल्कि निर्णायक पदों पर नेतृत्व कर रही हैं।

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संकट में संचार की भूमिका

Operation Sindoor पर हुई संयुक्त मीडिया ब्रीफिंग एक ऐसा संवेदनशील अवसर था जब देश शोक में डूबा हुआ था, और सेना द्वारा की गई कार्रवाई पर लोगों की निगाहें टिकी थीं। ऐसे समय में Wing Commander Vyomika Singh की ब्रीफिंग में मौजूदगी यह दिखाती है कि आधुनिक सैन्य अधिकारी अब केवल युद्धभूमि में ही नहीं, बल्कि सार्वजनिक संवाद और संचार में भी अहम भूमिका निभा रहे हैं।

Wing Commander Vyomika Singh न केवल एक कुशल पायलट हैं, बल्कि वे एक प्रेरणादायक नेतृत्वकर्ता, संचारक और भारत की सैन्य शक्ति का आधुनिक चेहरा भी हैं। उनकी उपलब्धियां भारतीय महिलाओं के लिए एक उदाहरण हैं कि समर्पण, साहस और कठिन परिश्रम से कोई भी ऊंचाई हासिल की जा सकती है। उनकी कहानी आने वाली पीढ़ियों को यह संदेश देती है कि अगर इरादे बुलंद हों, तो आकाश की ऊंचाई भी छोटी लगती है।


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